एक करोड़ 18 लाख के सौदे में दिल्ली पुलिस का आरक्षी ही था हत्यारा उसे संयुक्त पुलिस टीम ने पकड़ा

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एक करोड़ 18 लाख के सौदे में दिल्ली पुलिस का आरक्षी ही था हत्यारा उसे संयुक्त पुलिस टीम ने पकड़ा


गौतमबुद्ध नगर। थाना बीटा-2 पुलिस व SWAT टीम द्वारा हत्या करने वाले अभियुक्त को किया गिरफ्तार, कब्जे से आलाकत्ल हथौडा व घटना में प्रयुक्त क्रेटा कार बरामद।
जानकारी के अनुसार थाना बीटा-2 पुलिस व SWAT टीम द्वारा संयुक्त कार्यवाही करते हुये हत्या करने वाले अभियुक्त प्रवीण पुत्र जितेन्द्र सिंह को एलजी गोल चक्कर गंदे नाले के पास से गिरफ्तार किया गया है। अभियुक्त के कब्जे से आलाकत्ल हथौडा व घटना में प्रयुक्त अभियुक्त की क्रेटा कार रजिस्ट्रेशन नम्बर डीएल 8 सीएएन 5001 बरामद हुयी है व अभियुक्त की निशांदेही पर एलजी गोल चक्कर से शारदा गोल चक्कर के बीच टी-सीरीज की खाली पडी भूमि की झाडियों से गुमशुदा मृतक अंकुश शर्मा पुत्र राममोहन शर्मा निवासी गोल्फ विस्टा अपार्टमेन्ट अल्फा 2 थाना बीटा 2 गौतमबुद्धनगर का शव बरामद हुआ है।
अभियुक्त प्रवीण वर्ष 2004 में दिल्ली पुलिस में आरक्षी पद पर भर्ती हुआ था वर्तमान में कई माह से निलंबित चल रहा था। प्रवीण ने ब्रोकर संचित के माध्यम से एक फ्लैट खरीदने के लिए सम्पर्क किया, जिस पर ब्रोकर ने गुमशुदा अंकुश शर्मा का सस्ता एवं अच्छा फ्लैट ईटा-2 में बेचने की बात बतायी एवं ब्रोकर संचित ने दिनांक 20.02.2024 को अभियुक्त प्रवीण की मृतक के साथ मीटिंग करायी और मृतक का फ्लैट 01 करोड 18 लाख रूपये में तय करा दिया जिसमें 88 लाख रूपये ए पेमेंट और 30 लाख रूपये कैश बी पेमेंट में देना तय हुआ था। अभियुक्त प्रवीण ने 51,000 रूपये टोकन मनी के रूप में अंकुश शर्मा के खाते में आनलाइन ट्रान्सफर कर दिये एवं उसके बाद अभियुक्त प्रवीण ने एक बार 05 लाख और फिर 02 लाख रूपये 14.03.2024 को अंकुश के खाते में ट्रान्सफर किये और एक एग्रीमेंट दोनों ने साइन कर लिया। 27 अप्रैल को टीएम प्रोसेस शुरू हुआ और 10 मई को ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण से टीएम लैटर प्राप्त हो गया उसके बाद मृतक कनाडा चला गया जिस कारण रजिस्ट्री नहीं हो सकी जुलाई के प्रथम सप्ताह में मृतक कनाडा से वापस आया और अपने फ्लैट की एग्रीमेंट से ज्यादा 20 लाख रूपये की डिमांड की तो अभियुक्त प्रवीण ने मना कर दिया और अंकुश शर्मा बढी हुयी कीमत मांगता रहा। टीएम की डेट एक्सपायर होने वाली थी जिस कारण प्रवीण परेशान था उधर अंकुश भी बार-बार पैसों की डिमांड कर रहा था। दिनांक 05 अगस्त 2024 को प्रवीण, संचित को लेकर मृतक के ऑफिस गया तो वहां प्रवीण 11 लाख रूपये मृतक को देने के लिए राजी हो गया लेकिन प्रवीण के पास मृतक को देने के लिए पैसे नहीं थे।
दिनांक 09.08.2024 को अभियुक्त प्रवीण ने मृतक को फोन कर 11 लाख रूपये देने के लिए उसके ऑफिस पर मिलने के लिए कहा जिस पर मृतक ने प्रवीण को 02 बजे दोपहर अपने ऑफिस सत्यम काम्पलैक्स अल्फा-2 पर बुलाया। जिस पर प्रवीण समय 01.30 बजे ही अपनी गाडी में सीट के नीचे एक हथौडा छिपाकर अंकुश को मारने के लिए प्लान कर अपनी क्रेटा कार से मृतक के आफिस के नीचे पहुँच गया और मृतक को फोन किया तो उसने कहा कि में अभी 20 मिनट में आफिस पहुँचने वाला हूँ तो प्रवीण ने मृतक के लिए एक लस्सी बनवाकर उसमें एल्प्रैक्स गोली पीसकर मिला दी। 20 मिनट के बाद जब मृतक आया तो प्रवीण ने उसको अपनी गाडी में ही बैठा लिया और उससे कहा कि चलो मेरे साथ में अपने फ्लैट से तुम्हें 11 लाख रूपये दे देता हूँ और मृतक को लस्सी पीने को दी। प्रवीण पहले भी कई बार मृतक को लस्सी पिलाई थी इसलिए कोई शक नहीं हुआ और उसने लस्सी पी ली। इसके बाद अभियुक्त प्रवीण गुमशुदा अंकुश शर्मा को अपनी कार में लेकर अपने घर की ओर चल दिया और एसकेए सोसाइटी पार्किंग थाना सूरजपुर में ले गया तथा जब मृतक सीट पर ही बेहोश हो गया तो पार्किंग में ही प्रवीण ने गाडी की सीट के नीचे से हथौडा निकालकर मृतक के सर पर मारा जिससे उसके सर से खून बहने लगा और उसकी मृत्यु हो गयी तो अभियुक्त प्रवीण ने मृतक के मोबाइल फोन से ही वकील साहब और अंकित के व्हाट्सएप पर पैसे मिलने और डाक्यूमेंट तैयार कराने का मैसेज भेजा जिससे किसी को अभियुक्त प्रवीण पर शक न हो। गाडी के हैड रैस्ट और पीछे मैट पर खून फैल गया था प्लान के मुताबिक अभियुक्त प्रवीण ने गाडी बेसमेंट पार्किंग में खडी कर दी और पार्किंग में से गाडी निकालकर एलजी गोल चक्कर होते हुए शारदा गोल चक्कर की तरफ टी सीरीज की जमीन के सामने झाडियों में ले जाकर मृतक की डैड बाडी को छिपा दिया था। गाडी में मृतक का काफी खून लग गया था जिसको अभियुक्त ने जैतपुर में ही कार्सटाउन पर धुलवा दिया था। जब गाडी धुलने वाले ने गाडी में खून लगे होने का कारण पूछा तो अभियुक्त प्रवीण ने बताया कि मेरे बेटे के सर में चोट लग गयी थी उसे जब मैं अस्पताल लेकर गया था तब उसका खून गाडी में लग गया था। परिजनों द्वारा दिनांक 10.08.2024 को मृतक के घर न आने पर थाना बीटा-2 पर गुमशुदगी दर्ज करायी गयी थी । जिसके सम्बन्ध में सीसीटीवी फुटेज में अंतिम बार मृतक को प्रवीण के साथ देखे जाने के आधार पर पूछताछ करने पर अभियुक्त प्रवीण द्वारा गुमशुदा की हत्या कर देने की घटना प्रकाश में आयी।

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